जो आंखें कह नही सकतीं वही मै बात लिखता हूँ। जो आंखें कह नही सकतीं वही मै बात लिखता हूँ।
और जज्बातों की कलम से लिखी जाती है। और जज्बातों की कलम से लिखी जाती है।
काश! वो खत पढ़ लिया होता मैंने लिख दिया होता तुम्हें जवाब, अब तो बहुत देर हो चुकी है काश! वो खत पढ़ लिया होता मैंने लिख दिया होता तुम्हें जवाब, अब तो बहुत देर...
लिखते लिखते वो बीते दर्द याद आने लगे कुछ घाव थे जो सीने में वो कागज में समाने लगे , लिखते लिखते वो बीते दर्द याद आने लगे कुछ घाव थे जो सीने में वो कागज में समाने ...
लेखनी के खूबसूरत आसमां में, देखो उड़ान भरते कलमकार। लेखनी के खूबसूरत आसमां में, देखो उड़ान भरते कलमकार।
आज भारत के प्रसिद्ध कवि, हरिवंश राय बच्चन, की है पूण्य तिथि। आज भारत के प्रसिद्ध कवि, हरिवंश राय बच्चन, की है पूण्य तिथि।